हरियाणा पुलिस सिपाही परीक्षा लीक करने के मामले में कैथल पुलिस ने 7 अन्य आरोपियों को गिरफतार किया है। एसपी ने बताया कि कैथल सीआईए-1 प्रभारी इंस्पेक्टर अमित कुमार की अगुवाई में पुलिस टीम हरियाणा पुलिस सिपाही लिखित परीक्षा डयूटी के मामले में 7 अगस्त की सुबह गश्त दौरान पेहवा चौक कैथल के पास मौजूद थी। जहां पुलिस को सहयोगी सूत्रों से गुप्त जानकारी मिली कि माता गेट कैथल के पास एक स्वीफट गाडी में तीन युवक मौजूद हैं जिनके पास हरियाणा पुलिस सिपाही लिखित परीक्षा की आंसरकी है और वो पेपर लीक करवा रहे हैं। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए माता गेट कैथल के नजदीक से गाड़ी में बैठे करीब 33 वर्षीय संदीप व करीब 25 वर्षीय गौतम, 27 वर्षीय नवीन निवासी प्यौदा को आंसरकी सहित काबू किया। जांच के दौरान युवकों के कब्जे से हरियाणा पुलिस सिपाही लिखित परीक्षा की आंसरकी बरामद हुई। पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ थाना शहर में मामला दर्ज कर जांच दौरान उनके गिरोह से जुड़े गांव थुआ निवासी करीब 42 वर्षीय आरोपी रमेश को कैथल से तथा गांव किच्छाना निवासी करीब 26 वर्षीय राजेश को अंबाला से काबू करके गिरफतार कर लिया गया था।
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आरोपी रमेश कैथल में एक कोचिंग सैंटर चलाता है। आरोपियों से पूछताछ के बाद उनके गिरोह से जुडे 6वें सदस्य करीब 31 वर्षीय नरेंद्र निवासी हिसार को भी 7 अगस्त की रात सिरसा से काबू करके गिरफतार कर लिया गया। जांच में सामने आया कि आरोपी नरेंद्र द्वारा रमेश को 6 अगस्त की रात ही आंसरकी उपलब्ध करवाई गई थी। आरोपी नरेंद्र द्वारा 1 करोड रुपए में डील करके आंसरकी प्राप्त की गई थी जो रमेश व उसके अन्य साथियों द्वारा 12 से 18 लाख रुपए में आगे जिनको की उपलब्ध करवाई गई उनके साथ बात तय की हुई थी। सभी 6 आरोपी रविवार को न्यायालय में पेश कर दिए गये, जहां से 3 आरोपी न्यायालय के आदेशानुसार न्यायिक हिरासत में भेज दिए गये, जबकि आरोपी रमेश, संदीप तथा नरेंद्र का गिरोह से जुडे अन्य सदस्यों की गिरफ्तारी सहित व्यापक पूछताछ के लिये 9 दिन का पुलिस रिमांड हासिल किया है।
एसपी ने बताया कि मामले की जांच दौरान सीआईए-2 प्रभारी इंस्पेक्टर सोमबीर सिंह की टीम द्वारा करीब उचाना जिला जींद निवासी 2 आरोपी, तारखा जिला जींद निवासी आरोपी, दरोली खेडा जिला जींद निवासी आरोपी, गांव थुआ जिला जींद निवासी 2 आरोपी तथा गांव सेगा निवासी आरोपी सहित 7 अन्य आरोपियों को भी गिरफतार कर लिया गया। उक्त सभी आरोपियों को आरोपी रमेश द्वारा एन्सवर की उपलब्ध करवाई गई थी। जो 4 आरोपियों का स्वयं का पेपर था जबकि एक आरोपी ने अपने साली के लडके, दूसरे ने काका के लड़के व साले के लिए तथा तीसरे आरोपी द्वारा अपने पुत्र के लिए आंसरकी प्राप्त की थी। सभी सातों आरोपी सोमवार को न्यायालय में पेश कर दिए गये, जहां से तारखा निवासी आरोपी को न्यायालय के आदेशानुसार न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया, जबकि शेष 6 आरोपियों का वारदात में प्रयुक्त मोबाईल फोन की बरामदगी सहित अन्य सदस्यों की गिरफतारी के लिए 3 दिन का पुलिस रिमांड हासिल किया गया है। जांच के दौरान यह सामने आया है कि गिरोह सदस्यों द्वारा परीक्षा देने वाले कुछ युवकों को व्हाटसएप के माध्यम से जबकि कुछ को बाई हैंड आंसरकी उपलब्ध करवाई गई थी। उनके द्वारा कैंडिडेटस से एन्सवर की सही होने पर बाद में पैसे देने की बात तय की हुई थी, जबकि कुछ युवकों से एडवांस के तौर पर चैक भी लिए हुए थे। आंसरकी कहां से लीक हुई, तथा उक्त आरोपियों के पास कहां से पहुंची इस बारे पुलिस द्वारा आगामी जांच दौरान गिरोह से जुडे अन्य सदस्यों के ठिकानों पर लगातार छापेमारी की जा रही है।
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