रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और सेना अध्यक्ष जनरल उपेंद्र त्रिवेदी ने आज जम्मू कश्मीर का दौरा किया है। ऑपरेशन सिंदूर और सीजफायर के बाद रक्षामंत्री-सेनाध्यक्ष का यह पहला जम्मू कश्मीर दौरा रहा। रक्षा मंत्री ने पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद को कड़ी चेतावनी दी है।
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रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज जम्मू-कश्मीर का दौरा किया। भारत-पाकिस्तान के बीच हुए सीजफायर और ऑपरेशन सिंदूर की सफलता के बाद रक्षामंत्री और सेनाध्यक्ष का ये पहला जम्मू कश्मीर का दौरा रहा। श्रीनगर पहुंचे रक्षा मंत्री ने भारतीय सेना और वायुसेना के जवानों से मुलाकात की और उनका हौसला बढ़ाया। इस दौरान उनके साथ सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी भी मौजूद रहे।
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने श्रीनगर में सैनिकों को संबोधित करते हुए कहा कि भारत कभी युद्ध का पक्षधर नहीं रहा, लेकिन अपनी संप्रभुता पर किसी भी हमले का मुंहतोड़ जवाब देगा। उन्होंने कहा कि भारत ने आतंकवाद के खिलाफ जंग में उनके एटमी हथियारों की धमकी की परवाह नहीं की।राजनाथ सिंह ने कहा कि दुनिया के सामने सवाल है की क्या ऐसे गैरजिम्मेदार हाथों में परमाणु हथियार सुरक्षित हैं?इसी के साथ राजनाथ सिंह ने पाकिस्तान एटमी हथियारों को IAEA की निगरानी में लेने की मांग की है।
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रक्षामंत्री ने ऑपरेशन सिंदूर को आतंकवाद के खिलाफ बड़ी कार्रवाई बताते हुए भारतीय सेना की बहादुरी की भरपूर सराहना की। रक्षामंत्री ने कहा कि उन्होंने हमारे माथे पर वार किया था, हमने उनकी छाती पर वार किया है। रक्षामंत्री ने कहा कि हमारी सरजमीं पर कोई भी आतंकी हमला एक्ट और वॉर माना जाएगा और बातचीत होगी तो सिर्फ आतंकवाद पर होगी और POK पर होगी।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने नियंत्रण रेखा एलओसी के नजदीकी क्षेत्रों का भी दौरा किया और स्थानीय कमांडरों से जमीनी स्थिति की जानकारी ली। उन्होंने सीमा पर रहने वाले लोगों से मुलाकात कर उनकी समस्याएं सुनीं। इस दौरान जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा भी उनके साथ मौजूद रहे।