Jaishankar at UNGA: भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर (Foreign Minister S. Jaishankar) ने शनिवार को आगाह करते हुए कहा कि दुनिया बड़े पैमाने पर हिंसा जारी रहने को लेकर ‘भाग्यवादी’ नहीं हो सकती।उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय यूक्रेन में युद्ध और गाजा में संघर्ष के मामले में ‘तत्काल समाधान’ चाहता है।
जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 79वें सत्र को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘संयुक्त राष्ट्र ने हमेशा ये माना है कि शांति और विकास साथ-साथ चलते हैं, फिर भी जब एक के लिए चुनौतियां सामने आई हैं, तो दूसरे पर उचित ध्यान नहीं दिया गया।’’
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सही उदाहरण पेश करें- उन्होंने कहा कि कमजोर और असुरक्षित वर्ग पर पड़ने वाले आर्थिक प्रभावों को रेखांकित किया जाना चाहिए।जयशंकर ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र विश्व व्यवस्था के सहमत सिद्धांतों और साझे मकसदों का प्रमाण है और अंतरराष्ट्रीय कानून और प्रतिबद्धताओं के प्रति सम्मान इस संबंध में सबसे महत्वपूर्ण है।उन्होंने ने कहा कि अगर हमें वैश्विक सुरक्षा और स्थिरता तय करनी है, तो ये जरूरी है कि जो नेतृत्व करना चाहते हैं, वे सही उदाहरण पेश करें। हम अपने बुनियादी सिद्धांतों के घोर उल्लंघन को बर्दाश्त नहीं कर सकते हैं।’
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शांति और विकास साथ-साथ चलते हैं- संयुक्त राष्ट्र ने हमेशा कहा है कि शांति और विकास साथ-साथ चलते हैं, फिर भी जब एक के लिए चुनौतियां सामने आती हैं, तो दूसरे को उचित सम्मान नहीं दिया जाता है।लेकिन हमें ये भी मानना होगा कि संघर्षों का समाधान स्वयं ही होना चाहिए।
दुनिया भाग्यवादी नहीं हो सकती- दुनिया बड़े पैमाने पर हिंसा जारी रहने के मामले में भाग्यवादी नहीं हो सकती, न ही इसके व्यापक परिणामों के प्रति असंवेदनशील हो सकती है। चाहे यूक्रेन में युद्ध हो या गाजा में संघर्ष, अंतरराष्ट्रीय समुदाय तत्काल समाधान चाहता है। इन भावनाओं को स्वीकार किया जाना चाहिए और उन पर कार्रवाई की जानी चाहिए।’’
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