Temperature Rise in world: भारत समेत दुनियाभर में तापमान बहुत तेजी से बढ़ता जा रहा है।तापमान के बढ़ने का असर अब प्रकृति में भी दिखाई देने लगा है।तापमान के लगातार बढ़ने से ग्लेशियर तेजी से पिघल रहे है। हर महीने 1.5 डिग्री सेल्सियस की बढ़ोतरी के साथ धरती का तापमान विकराल रूप धारण कर रहा है।अगर ऐसा ही दुनिया का तापमान बढता रहा तब क्या यह दुनिया हमारे रहने के लिए बची रहेगी?
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अगर आने वाले समय में ऐसे ही धरती का तापमान में बढोतरी होती रहेगी। तब हो सकता है कि पृथ्वी बहुत अधिक गर्म हो जाएगी। प्रकृति में बदलाव का असर हम सब बहुत पहले से हम सब देखते आ रहे है। प्रकृति के अचानक से आए बदलाव के कारण बहुत ज्यादा गर्म और ठंडे मौसम की घटनाओं बहुत तेजी से बढ रही है। समुद्री बर्फ और ग्लेशियरों पिघल रहे है। जिसके कारण लोगों, अर्थव्यवस्थाओं और प्रकृति को बहुत बड़ा नुकसान हो रहा है।बीते कुछ सालों में भारत समेत दुनिभर में करोड़ों लोगों ने भीषण गर्मी झेली। जून का महीना अब तक का सबसे गर्म महीना रहा।
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दुनिया में तेजी से बढ़ रही तापमान-आपको बता दें कि जून में दुनिया की समुद्री सतह भी इस महीने में अब तक सबसे अधिक गर्म दर्ज की गई थी। जून में कई देशों को रिकॉर्ड तोड़ गर्मी और विनाशकारी बाढ़ और तूफान का सामना करना पड़ा। अमेरिका स्थित वैज्ञानिकों के एक स्वतंत्र समूह क्लाइमेट सेंट्रल के अनुसार दुनिया की 60 प्रतिशत से अधिक आबादी को अत्यधिक गर्मी का सामना करना पड़ा ।
जानें क्या खत्म हो जाएंगे इंसान? ऐसे ही 1.5 डिग्री सेल्सियस के हिसाब से तापमान बढ़ने का सिलसिला जारी रहा तो क्या दुनिया खत्म हो जाएगी? इस सवाल का जवाब IPCC की एक रिपोर्ट में साझा किया गया है । IPCC, यूनाइटेड नेशंस के साथ मिलकर काम करने वाले सैकड़ों साइंटिस्ट्स का एक ग्रुप है. इस रिपोर्ट के अनुसार क्लाइमेट साइंटिस्ट्स का मानना है कि पृथ्वी के गर्म होने से कई गंभीर खतरे पैदा हो सकते हैं, लेकिन मनुष्य का विलुप्त होना उन खतरों में शामिल नहीं किया गया है।