वाराणसी (रिपोर्ट- राम सुंदर मिश्रा ): शहर बनारस जहाँ धर्म ,संस्कृति और 84 घाट विश्व प्रसिद्ध माने जाते हैं । देश विदेश से लोग यहां आते हैं और इन सभी 84 घाटों का भ्रमण करते हैं । लेकिन साथ ही उन्हें इन घाटों के इतिहास के बारे में जानने की उत्सुकता भी होती है इसके लिए उन्हें किसी से पूछना या किताबों को पढ़ना पड़ता है लेकिन अब ऐसा नही होगा क्योंकि सभी घाटों पर लगे साइनेज उस घाट के इतिहास का खुद बयान करेंगे। वो भी विस्तार से जैसा आम आदमी जानना चाहता है । स्मार्ट सिटी के तर्ज पर इन घाटों के साइनेज को आधुनिक बनाया जा रहा है जिसके अंतर्गत इन साइनेज पर QR CODE scanner लगाए जाएंगे जो काशी के इन सभी घाटों का इतिहास बताएंगे, कैसे आइए जानते हैं इस स्पेशल रिपोर्ट में-
QR CODE बताएंगे इतिहास –
बनारस में गंगा किनारे 84 घाट है । सभी घाटों पर अलग अलग संस्कृति,अलग इतिहास और आध्यात्म शामिल हैं जिसे हर कोई जान नही पाता । लेकिन अब QR-CODE (क्यूआरकोड) इन घाटों की पूरी विस्तृत जानकारी देगा । अब आप सोच रहे होंगे कि ये कोड तो डिजिटल बैंकिंग के काम आता है ये कैसे इतिहास बनाएगा, लेकिन ये सच है।
दरअसल इन घाटों पर लगे साइनेज आसान भाषा में कहे तो घाटों पर लगे पत्थर जो बताते हैं कि ये कौन सा घाट है या फिर जिस साइनेज पर घाट का नाम लिखा रहता है इस बोर्ड पर QR-CODE लगाया जाएगा । जिसे स्कैन करते ही उस घाट की पूरी जानकारी उस पर्यटक के मोबाइल पर आ जायेगी और बड़े ही आसानी से वो पर्यटक उस घाट का इतिहास और संस्कृति को जान जाएगा ।
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इस योजना को वाराणसी में स्मार्ट सिटी के अंतर्गत लाया जा रहा है । लगभग 5 करोड़ की इस योजना में सभी 84 घाट शामिल हैं । जिसे लगभग 2 महीने में पूरा कर लिया जाएगा । ये योजना खास पर्यटकों के लिए ही लाई गई है ताकि उन्हें घाटों को लेकर जानकारी के लिए कही भटकना न पड़े, उनके मोबाइल के जरिये ही पूरी जानकारी उन्हें उपलब्ध हो जाये ।
काशी के सुन्दरीकरण को लेकर पीएम मोदी से लेकर सीएम योगी तक की गम्भीरता का ही ये असर हैं कि काशी लगातार और खूबसूरती की ओर बढ़ रहा है । आने वाले समय में काशी में विकास की कई तस्वीर सामने आएगी जो देश के लिए उदाहरण बनेगी उन्ही तस्वीरों में एक तस्वीर घाटों पर क्यूआरकोड के साथ लगे साइनेज होंगे जो आधुनिकता के जरिये आध्यात्म को जोड़ेंगे ।