प्रदीप कुमार – लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने अपने एक दिन के जयपुर प्रवास के दौरान राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान अकादमी (नेशनल एकेडमी ऑफ मेडिकल साइंस) के राष्ट्रीय सम्मेलन एवं दीक्षांत समारोह को सम्बोधित किया।
इस अवसर पर ओम बिरला ने अकादमी से जुड़े सभी सदस्यों, पदाधिकारियों और चिकित्सकों को बधाई दी। अकादमी के लम्बे इतिहास का उल्लेख करते हुए ओम बिरला ने कहा कि अकादमी चिकित्सा के क्षेत्र में रिसर्च और इनोवैशन को बढ़ावा देने के लिए भारत का एक प्रमुख संस्थान है और अनुभवी तथा उच्च प्रशिक्षित डॉक्टर्स इसके सदस्य हैं। श्री बिरला ने कार्यक्रम में फेलोशिप और मेम्बरशिप प्राप्त करने वाले सभी चिकित्सकों को बधाई दी।
ओम बिरला ने अकादमी के कार्य की सराहना करते हुए कहा कि संस्थान ने चिकित्सा क्षेत्र में नवीन तकनीकों, रिसर्च तथा नए और प्रभावी तरीकों को प्रोत्साहित किया है तथा चिकित्सकों में मानवीय संवेदना और सेवा भावना को विकसित करने का उल्लेखनीय कार्य किया है।
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देश के युवाओं की बौद्धिक शक्ति एवं परिश्रम क्षमता के सन्दर्भ में स्पीकर बिरला ने कहा कि भारतीय चिकित्सक दुनिया के सबसे कुशल और योग्य चिकित्सक हैं तथा विश्व के सबसे विख्यात चिकित्सा संस्थानों में उपचार कर रहे हैं और मेडिकल क्षेत्र में नए इनोवेशन कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि भारतीय चिकित्सक अपनी कुशलता के साथ सेवाभाव और निष्ठा के कारण भी जाने जाते हैं।
विश्व में चिकित्सा पर्यटन (मेडिकल टूरिज़म) के क्षेत्र में भारत के बढ़ते कद का उल्लेख करते हुए बिरला ने कहा कि भारतीय चिकित्सक एवं हेल्थकेयर सिस्टम दुनिया भर के लोगों को सस्ता और सुलभ उपचार मुहैया करवा रहा है।श्री बिरला गर्व प्रकट करते हुए कहा कि पारंपरिक चिकित्सा में अपनी समृद्ध विरासत को आगे बढ़ाते हुए भारत ने एलोपैथिक चिकित्सा और सर्जरी के क्षेत्र में बहुत प्रगति की है।
ओम बिरला ने राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान अकादमी और अन्य प्रमुख संस्थानों से आग्रह किया कि भारत के सुदूर ग्रामीण क्षेत्रों में उन्नत चिकित्सा सुविधा विकसित करने की दिशा में प्रभावी शोध करे। ओम बिरला ने जन प्रतिनिधियों और चिकित्सकों के बीच प्रभावी संवाद की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि NAMS जैसी संस्थायें देश के गांवो में प्रशिक्षित चिकित्सक और गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सेवाएं मिलने की दिशा में विचार मंथन कर जन प्रतिनिधियों को जरूरी इनपुट दे।