Farmer Protest- पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर के अलावा राजपुरा बॉर्डर पर भी किसान डेरा जमाए हुए हैं।किसानों का कहना है कि वे शांतिपूर्वक विरोध कर रहे हैं। किसान गुरमेल सिंह गिल ने कहा, यहां बैठे हुए अब छह दिन हो गए हैं। हम शांतिपूर्वक विरोध कर रहे हैं। किसी के पास कोई हथियार नहीं है। हमारे पास केवल एक झंडा और एक छड़ी है। हमारा मानना है कि वे वर्दी पहने हुए आरएसएस से हैं जो सरकारी वर्दी पहनकर हम पर गोलियां चला रहे हैं, आंसू गैस और लॉन्चर का इस्तेमाल कर रहे हैं। मेरे पास मेरी ट्रॉली में है।अगर मुझे पता होता तो मैं इसे दिखाने के लिए लाता। लगभग 100-120 लोग घायल हो गए हैं और एक किसान शहीद हो गया है।”
पिछले पांच दिनों से किसान आंदोलन 2.0 जारी है। एमएसपी पर कानूनी गांरटी समेत कई मांगों को लेकर किसान पंजाब-हरियाणा की सीमाओं पर डटे हुए हैं। एक तरफ जहां प्रदर्शनकारी किसान दिल्ली कूच के लिए तैयार हैं तो वहीं दूसरी तरफ प्रशासन उन्हें आगे बढ़ने से रोकने के लिए मुस्तैद है।
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किसान यूनियनों के नेताओं और केंद्रीय मंत्रियों के बीच अब तक तीन दौर की बातचीत हो चुकी है। लेकिन हर बार बैठक बेनतीजा रही।गुरुवार देर रात चली तीसरे दौर की मैराथन बैठक के बाद केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा ने कहा कि चर्चा सकारात्मक रही और बातचीत का एक और दौर रविवार को होगा।और उम्मीद जताई है कि रविवार को किसान संगठनों के साथ होने वाली बैठक में समाधान निकलेगा. उन्होंने कहा कि हम जल्द ही कोई समाधान निकाल लेंगे. इस बीच खबर आ रही है कि केंद्र सरकार किसानों को एमएसपी पर कमेटी बनाने का प्रस्ताव दे सकती है.