हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी आज कुरुक्षेत्र दौरे पर रहे। इस दौरान उन्होंने वहां आयोजित आर्य महासम्मेलन के समापन समारोह में शिरकत की और कहा कि गुरुकुल के माध्यम से नागरिक देशभक्त, कर्तव्यनिष्ठ व संस्कारवान बन रहे हैं। महर्षि दयानंद जी की सोच थी कि समाज ऊंच-नीच, जात-पात रहित हो। वहीं इस कार्यक्रम में गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत भी शामिल हुए।
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आपको बता दें, इस दौरान कार्यक्रम को संबोधित करते हुए CM नायब सिंह सैनी ने कहा कि देशभक्तों पर आर्य समाज की गहरी छाप रही है। चाहे लाला लाजपत राय हों या वीर सावरकर, मदन मोहन ढींगरा हों या फिर शहीद ए आजम भगत सिंह। इस अवसर पर गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत ने अपने संबोधन में कहा कि स्वतंत्र भारत में चुनौतियां बदल रही है अच्छी युवा पीढ़ी का निर्माण करना भी हमारी जिम्मेदारी है। इसके साथ ही बढ़ते प्रदूषण के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि पराली जलाने से जहां प्रदूषण होता है वहीं भूमि की ऊर्जा शक्ति भी समाप्त होती है।
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कार्यक्रम में शिरकत करने के बाद इसकी जानकारी देते हुए CM सैनी ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट करते हुए कहा कि “धर्मनगरी कुरुक्षेत्र में आर्य प्रतिनिधि सभा(हरियाणा) एवं गुरुकुल कुरुक्षेत्र के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित आर्य महासम्मेलन में सम्मिलित होकर उपस्थित आर्यजनों को संबोधित किया। आर्य महासम्मेलन का आयोजन आर्य समाज के प्रेरणा स्त्रोत महर्षि दयानंद जी के 200वें जयंती वर्ष के अवसर पर किया गया। महर्षि दयानंद जी के 200वें जयंती वर्ष की सभी आर्यजनों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं देता हू्ं। आर्य समाज ने धर्म, समाज और राष्ट्र तीनों के लिए अभूतपूर्व कार्य किए हैं। जातिवाद का अंत, सबको पढ़ने का अधिकार, स्त्री शिक्षा, विधवा विवाह, छुआछूत को समाप्त करने और गौ रक्षा के लिए उल्लेखनीय भूमिका निभाई है। इस अवसर पर गुजरात के महामहिम राज्यपाल आचार्य श्री देवव्रत जी उपस्थित रहे।”