Lok Sabha Chunav: दिल्ली में वसंत विहार, इंद्रपुरी, करोल बाग और मयूर विहार जैसे इलाकों में बड़ी संख्या में तमिल समुदाय रहता है। उन्हें उन परेशानियों को लेकर चिंता है, जिनका सामना वे हर रोज करते हैं।उन्हें उम्मीद है कि राजनैतिक दल अपने चुनाव अभियानों में इन मुद्दों पर ध्यान देंगे।कुछ इलाकों में टूटी-फूटी सड़कें और कचरे का ढेर प्राथमिकता के मुद्दे हैं। लोगों की शिकायत है कि ये समस्याएं सालों से ज्यों का त्यों बनी हुई हैं।लोगों का कहना है कि शासन और नेतृत्व में बदलाव के बावजूद उनकी बदहाली खत्म नही हुई।घरेलू कामगारों के रूप में कमाई करने वाले न्यूनतम मजदूरी का नियम सख्ती से लागू करने की मांग कर रहे हैं।तमिल समुदाय को उम्मीद है कि लोकसभा चुनाव राजनैतिक दलों को अपने वादे पूरा करने के लिए जवाबदेह बनाने का मौका देंगे।
जाने दिल्ली में रहने वाले तमिल समुदाय के मुद्दे ?
दिल्ली के इंद्रपुरी में रहने वाले अरुमुगम ने कहा कि यहां की मुख्य सड़कें पूरी तरह से टूटी हुई हैं। हमारे यहां सीवर की समस्या और कूड़ा हटाने की भी समस्या है। उन्होंने इस गली में कूड़े का एक बड़ा डिब्बा रखा है। हम चाहते हैं कि ये डिब्बा कहीं और रखा जाए। कचरा का ढेर यहां की बड़ी समस्या है। पहले यहां ट्रक आ सकते थे। अब उनके आने की जगह नहीं बची है।
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हौज खास निवासियों ने बताई ये समस्या…
दिल्ली में काफी तमिल रहते हैं। उनमें से कई घरेलू काम करते हैं। सरकार ने काम पर रखने वालों से न्यूनतम वेतन देने को कहा है। इसका सख्ती से पालन होना चाहिए। उन्हें दूसरे सरकारी लाभ भी मिलने चाहिए।” हमें काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। यहां की सड़कें पूरी तरह टूट गई हैं। अब आम आदमी पार्टी सत्ता में है। हालांकि वे कुछ काम कर रहे हैं, लेकिन ये उनकी प्राथमिकता नहीं है।”