प्रदीप कुमार – सूडान में फंसे भारतीयों को ‘ऑपरेशन कावेरी’ के तहत निकालने का काम खत्म हो गया है।विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने जानकारी दी कि 24 अप्रैल को शुरू किए गए ऑपरेशन कावेरी की मदद से कुल 3862 भारतीयों की वतन वापसी हो चुकी है गृह युद्ध में फंसे सूडान से भारतीयों को निकालने के ऑपरेशन कावेरी के लिए सेना की 17 उड़ानों की मदद ली गई।वहीं, नौसेना के 5 जहाज़ो को भी इस मिशन पर भेजा गया था। ‘ऑपरेशन कावेरी’ के लिए भारतीय वायु सेना का आखिरी विमान 47 यात्रियों को लेकर शुक्रवार यानी 5 मई को स्वदेश लौट आया है।
सूडान से भारतीयों को निकालने के लिए भारतीय वायु सेना ने 17 उड़ानों का संचालन किया और भारतीय नौसेना ने पोर्ट सूडान से भारतीयों को सऊदी अरब में जेद्दा ले जाने के लिए पांच फेरे लगाए।विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि सूडान की सीमा से लगते देशों के जरिए 86 भारतीयों को सुरक्षित लाया गया है। दरअसल सूडान में गृहयुद्ध के हालात से वहां रह रहे भारतीयों के लिए बड़ी मुसीबत खड़ी हो गई थी। इसमें एक भारतीय की जान भी चली गई थी। जिसके बाद भारत सरकार ने ‘ऑपरेशन कावेरी’ के तहत सूडान में फंसे सभी भारतीयों को निकालने का व्यापक कावेरी अभियान चलाया था।
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भारत सरकार ने सूडान से लाए गए भारतीयों की मेजबानी और निकासी प्रक्रिया में मदद के लिए सऊदी अरब का विशेष आभार जताया है।वही भारतीयों की सुरक्षित निकासी सुनिश्चित करने के लिए चाड, मिस्र, फ्रांस, दक्षिण सूडान, संयुक्त अरब अमीरात, ब्रिटेन, अमेरिका और संयुक्त राष्ट्र का भी आभार जताया है। अफ्रीकी देश सूडान कई हफ्तों से गृहयुद्ध में जल रहा है। वहां सेना और पैरामिलिट्री फोर्स आपस मे जंग लड़ रही है। गोलीबारी और बमबारी हो रही है और अब तक सैकड़ों मौतें हो चुकीं हैं।