( सत्यम कुशवाह ), अयोध्या – उत्तर प्रदेश के अयोध्या यानी रामलला की जन्मभूमि में बीते दिन मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को प्रभु राम और माता सीता का विवाह धूमधाम के साथ किया गया। इस विवाह में दूर-दराज से भी तमाम श्रद्धालु शिरकत करने पहुंचे और जमकर ईश्वरीय विवाह का आनंद उठाया।
आपको बता दें, हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार प्रभु राम और माता सीता का विवाह त्रेता युग में मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को हुआ था। जोकि इस साल 17 दिसंबर 2023 को पड़ी। इस दिन को विवाह पंचमी के त्योहार के रूप में मनाया जाता है। इसी के चलते रविवार को सिया-राम का विवाह बड़े ही धूमधाम के साथ अयोध्या में किया गया। नाचते गाते बैंड बाजा बारात निकली, अवध में निकली इस भव्य बारात को देखने के लिए भारी संख्या में हुजूम लगा रहा।
अयोध्या पहुंचे श्रद्धालुओं ने राम-सीता विवाह में शामिल होने को लेकर अपनी खुशी जाहिर की। एक श्रद्धालु महिला ने कहा कि पिछली बार सावन में आए थे तब महंत जी ने बताया था कि 17 दिसंबर को राम-सीता विवाह होगा आना। कभी नहीं सोचा था इस बार हम राम-सीता विवाह में शामिल हो पाएंगे, लेकिन प्रभु की मर्जी हुई और तत्काल टिकट हुई और हम अयोध्या आ गए। विवाह में शामिल होकर बहुत अच्छा लगा, यह नजारा बहुत ही अद्भुत और दिव्य है। इसके साथ ही एक अन्य श्रद्घालु ने कहा सिया-राम के विवाह में शामिल होकर बहुत लग रहा है, हम अपने परिवार के साथ आए हैं। ऐसा लग रहा है मानों सच में ही राम-सीता का विवाह हो रहा है। अगले साल फिर आएंगे।
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एक श्रद्धालु ने कहा बिल्कुल ऐसे ही विवाह हो रहा है जैसे हमारे यहां धूमधाम के साथ होता है। दूर-दूर से मेहमान आए, बैंड बाजे के साथ बारात निकली, खाने-पीने की व्यवस्था और भी सब कुछ। बाकई ये नजारा बहुत ही आनंद देने वाला रहा। भगवान राम और माता सीता के विवाह में तमाम अधिकारी भी शामिल हुए।
महंत जी ने बताया कि इस वर्ष का जो राम-सीता विवाह हुआ, वह बहुत ही आनंददायक रहा। राम भक्तों में बड़ा ही उत्साह देखने को मिला। सभी ने बड़े उत्साह-उमंग के साथ बैंड बाजा संग बारात निकाली। यह देखकर ऐसा लगा जैसे त्रेता युग में भगवान राम और माता सीता का विवाह हुआ था, वैसा ही माहौल इस बार देखने को मिला। इससे लगता है कि त्रेता युग ही आ गया है।