अमन पांडेय : आज सीएम अशोक गहलोत ने विधानसभा में पुराना बजट पढ़ दिया करीब 7 मिनट तक वो पुराने बजट को पढ़ते रहे तभी उनके कैबिनेट में सहयोगी मंत्री महेश जोशी आकर सीएम के कान में कुछ कहा और वो वहीं रुक गए, गहलोत का भाषण जैसे ही रुका विपक्ष ने हंगामा शुरु कर दिया। cm gehlot news
भारत के इतिहास में ऐसा पहली बीर हुआ होगा जब किसी विधानसभा में पुराना बजट भाषण पढ़ा गया हो और इस भाषण पर जोरदार हंगामे के चलते सदन की कार्यवाह दो बार रोकनी पड़ी। जब सीएम गहलोत तीसरी बार भाषण के लिए खड़े हुए तो माफी मांगी। उन्होंने कहा, जो कुछ हुआ उसके लिए सॉरी फील करता हूं।विपक्षी सदस्य भारी हंगामा करते हुए सदन के वेल में आ गए थे। विपक्ष ने यह भी आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने मुख्य सचिव ऊषा शर्मा को तलब किया और अफसरों की लापरवाही पर नाराजगी व्यक्त की।
राजस्थान में पहली बार बजट भाषण के दौरान सदन की कार्यवाही स्थगित की गई जब गहलोत ने दो पॉइंट्स हूबहू पढ़े तो यह देख सरकारी मुख्य सचेतक महेश जोशी ने सीएम के कान में बोला। इसी बीच विपक्ष के नेता और उपनेता ने सवाल उठाया कि सीएम पुराना भाषण पढ़ रहे हैं और बजट लीक हो गया है।। इस पर हंगामा शुरू हो गया। बीजेपी विधायकों ने वेल में आकर हंगामा शुरू कर दिया तो हंगामा बढ़ने लगा तो स्पीकर ने 11 बजकर 12 मिनट पर आधे घंटे के लिए सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी।
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स्पीकर बोले जो हुआ वह दुर्भाग्यपूर्ण रहा
सदन शुरु होने पर स्पीकर सीपी जोशी ने कहा कि जो कुछ घटनाक्रम हुआ, वह दुर्भाग्यपूर्ण है, उसमें हमने पता लगाया। सीएम ने जो भाषण दिया है वह ठीक नहीं होगा। आज की घटना से आहत हुए हैं। उन्होंने आगे कहा कि मानवीय भूल होती रहती है। इस अनहोनी घटना के लिए जो सारी कार्यवाही हुई है, उसे निरस्त करता हूं।
गहलोत ने दी सफाई
गहलोत ने कहा कि कॉपी वही आपको मिली है, जो बजट में पढ़ने वाला था। एक एकस्ट्रा पेज था। ये बजट को प्रेस में मैने नहीं छपाया। उनमें से कोई मुझे कनवे करें कि पेज गलत आ गया सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि ऐसे ह्यूमन एरर पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के समय भी हुए हैं।
इसके जवाब में राजे ने कहा कि कोई भी सीएम अगर अपने भाषण में इस तरह की गलती करे तो आई फील कि राजस्थान का क्या होगा? इससे पहले पूर्व सीएम राजे ने इस मुद्दे पर ट्वीट भी किया। उन्होंने लिखा, ‘जिस प्रदेश के मुख्यमंत्री बिना चेक किए 8 मिनट तक पुराना बजट पढ़ते रहे, आप समझ सकते हैं कि उनके हाथ में प्रदेश कितना सुरक्षित है? ये इतिहास में पहली बार हुआ है।