प्रदीप कुमार – तुर्की और सीरिया में सोमवार को आए भूकंप के चार बड़े झटकों ने आसपास के छह देशों को हिलाकर रख दिया है। तुर्की और पड़ोसी सीरिया में हजारों लोगों की मौत हो गई और हजारों इमारतें ढह गईं।
संकट के समय में भारत तुर्की की मदद के लिए आगे आया है।भारत की ओर से भेजी गई मेडिकल टीम में क्रिटिकल केयर विशेषज्ञ भी शामिल हैं। इसके अलावा आर्थोपेडिक सर्जिकल टीम, सामान्य सर्जिकल विशेषज्ञ टीम और चिकित्सा विशेषज्ञ टीम को भी भेजा गया है। राहत सामग्री के साथ पहला विमान सोमवार रात रवाना किया गया है।
भारत ने राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल की बचाव टीमों के साथ मानवीय सहायता का पहला जत्था तुर्की भेजा।विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने ट्विटर पर कहा कि ‘भारत की मानवीय सहायता और आपदा राहत (एचएडीआर) कार्रवाई में जुट गई है’
डिप्टी कमांडेंट दीपक तलवार के नेतृत्व में एनडीआरएफ की 51 सदस्यों की पहली टीम भारतीय वायु सेना के विमान से गाजियाबाद के हिंडन हवाई अड्डे से तुर्की के लिए रवाना हुई है। केंद्र सरकार ने घोषणा की है कि विशेष रूप से प्रशिक्षित डॉग स्क्वॉड और जरूरी उपकरणों के साथ 100 कर्मियों की एनडीआरएफ की दो टीमें खोज और बचाव कार्यों के लिए तुर्की भेजा गया हैं। सरकार के मुताबिक जरूरी दवाओं के साथ प्रशिक्षित डॉक्टरों और पैरा-मेडिकल स्टाफ के साथ मेडिकल टीमें भी तैयार की जा रही हैं। इन सभी को तुर्की के भूकंप से तबाह इलाकों में पीड़ितों की मदद के लिए भेजा गया है।
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भूकंप प्रभावित इलाकों में लोगों को चिकित्सा सहायता देने के लिए भारतीय सेना तुर्की में 30 बेड वाला एक फील्ड अस्पताल तैयार करेगी, जिसमें एक्स-रे मशीन, वेंटिलेटर, ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्र, कार्डियक मॉनिटर और संबंधित उपकरण होंगे।
तुर्की के राजदूत ने भीषण भूकंप से तबाह उनके देश में राहत और बचाव दल की मदद भेजने के लिए भारत को शुक्रिया कहा है। भारत में तुर्की के राजदूत फिरत सुनेल ने भारत को ‘दोस्त’ कहा है।
एक ट्वीट में सुनेल ने कहा कि ‘दोस्त’ तुर्की और हिंदी में एक आम शब्द है।हमारे यहां एक तुर्की कहावत है कि जो जरूरत के समय काम आए वही वास्तव में दोस्त है। आपका बहुत-बहुत शुक्रिया’
भूकंप प्रभावित तुर्की में भारतीय वायु सेना ने बचाव और राहत कार्यों में सहायता के लिए 60 पैरा फील्ड अस्पताल और कर्मियों के साथ आज दो और सी-17 विमानों को तुर्की भेजने की घोषणा की है।