अजय पाल – जम्मू कश्मीर को धरती का स्वर्ग कहा गया है । जम्मू कश्मीर अक्सर आतंकवादी घटनाओं होने के कारण सुर्खियों में बना रहता है । लेकिन हाल ही में जम्मू कश्मीर में 5.9 मिलियन टन लिथियम का भंडार मिला है । जिसके कारण जम्मू कश्मीर चर्चा का विषय बना हुआ है । देश में पहली बार जम्मू कश्मीर के रियासी जिले में लिथियम का बड़ा भंडार पाया गया है। यह भी बताया जा रहा है कि देश में मिले लिथियम के भंडार की यह पहली साइट है। भारत अपनी दैनिक जरूरतों को पूरा करने के लिए लिथियम को दूसरे देशों से आयात करता है। जम्मू कश्मीर के रियाशी इलाके में मिले लिथियम के इस भंडार का देश के लिए विशेष महत्व माना जा रहा है । दुनियाभर के अनेक देश ग्रीन एनर्जी पर स्विच करने में लगे हैं । ऐसे में लिथियम की वैल्यू बहुत तेजी से बढ रही है ।आकडे बताते है कि साल 2000 से 2015 के बीच लिथियम की डिमांड 30 गुना तक बढ़ी 2025 तक लिथियम की डिमांड 100 गुना तक बढ़ सकती है ।
जानिए लिथियम का महत्व
लिथियम एक अलौह धातु है । लिथियम का प्रयोग मोबाइल फोन की बैटरी को बनाने में, लैपटॉप ,डिजिटल कैमरा व इलेक्ट्रिक वाहनों की रिचार्बेल बैटरी को बनाने में किया जाता है । इसके अलावा बच्चों के खिलौने व घड़ियों को बनाने में भी लिथियम का अहम योगदान माना गया है ।लिथियम भंडार की यह पहली साइट है । जिसकी पहचान भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण (जीएसआई) ने की ।
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भारत विदेशों से आयात करता है लिथियम
आयात पर भारत की निर्भरता को कम करने के लिए देश मे जादा से जादा महत्वपूर्ण खनिजों के भंडार खोजे जाए । सीजीपी की बैठक में जीएसआई ने 11 राज्यों में विभिन्न प्रकार के खनिजों के भंडार मिलने की जानकारी दी । 2020 से भारत लिथियम आयात करने में दुनिया में चौथे नंबर पर रहा था ।भारत इस क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनने के लिए अर्जेंटीना, चिली, ऑस्ट्रेलिया व बोलिविया जैसे लिथियम के धनी देशों के साथ खदानों में हिस्सेदारी खरीदने की दिशा में आगे बढ़ रहा है ।
लिथियम उत्पादन के मामलो में कौन सा देश है आगे
लिथियम प्रोडक्शन में ऑस्ट्रेलिया प्रथम पायदान पर है । साल 2021 के आंकड़ों के अनुसार ऐसा बताया गया है कि दुनियाभर का 52 परसेंट लिथियम ऑस्ट्रेलिया ही प्रोड्यूस करता है । व दूसरे नंबर पर चिली का नाम आता है । व तीसरे तीसरे नंबर पर चीन का स्थान आता है ।