विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने मंगलवार को कहा कि संघर्ष और हिंसा से घिरी हुई आज की दुनिया में महात्मा गांधी की प्रासंगिकता बहुत ज्यादा है।वियतनाम की हो ची मिन्ह सिटी में महात्मा गांधी की प्रतिमा का अनावरण करने के बाद अपने संबोधन में विदेश मंत्री जयशंकर ने स्वतंत्रता संग्राम में राष्ट्रपिता के योगदान की सराहना करते हुए कहा कि वे सिर्फ राजनैतिक प्रेरणा नहीं हैं बल्कि कूटनीति के प्रेरक भी हैं।
एस. जयशंकर ने कहा कि आज हम जिस दुनिया को संघर्ष और हिंसा से घिरा हुआ देखते हैं, उसमें महात्मा गांधी की प्रासंगिकता बहुत ज्यादा है।उन्होंने कहा कि वियतनाम के पूर्व राष्ट्रपति हो ची मिन्ह ने भारत और वियतनाम की दोस्ती की नींव रखी थी।
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विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा कि आज हम जिस दुनिया को संघर्ष और हिंसा से घिरा हुआ देखते हैं, उसमें महात्मा गांधी की प्रासंगिकता बहुत ज्यादा है। इसलिए जब हम विभाजन को पाटने के लिए विरोधाभास में सामंजस्य स्थापित करने का प्रयास करते हैं, तो महात्मा गांधी न केवल एक राजनैतिक प्रेरणा के रूप में बल्कि कूटनीति के प्रेरक के रूप में भी काम करते हैं। हो ची मिन्ह ने भारत और वियतनाम के बीच स्थायी मित्रता की नींव रखी, लेकिन ये संबंध कई कार्यकालों में पनपे। 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वियतनाम यात्रा के दौरान मुझे भी उनके साथ जाने का सम्मान मिला। इसे एक व्यापक स्ट्रैटजिक पार्टनरशिप के तौर पर जाना गया।