Swami Prasad Maurya- समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य के देवी लक्ष्मी पर दिए विवादित बयान के बाद अयोध्या के संतों ने नाराजगी जताई है। अयोध्या के संतों ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य अपने बयानों से हिंदूओं और सनातन धर्म का अपमान कर रहे हैं।
क्या था विवाद ?
स्वामी प्रसाद मौर्य ने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा था, ” पूरी दुनिया के हर धर्म, जाति, नस्ल, रंग और देश में पैदा हुए हर बच्चे के दो हाथ, दो पैर, दो कान, दो आंखें और दो छेद वाली एक नाक होती है। केवल एक सिर, पेट और पीठ होती है। जब आज तक चार हाथ, आठ हाथ, दस हाथ, बीस हाथ और एक हजार हाथ वाला बच्चा पैदा नहीं हुआ तो चार हाथ वाली लक्ष्मी कैसे पैदा हो सकती हैं?”
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संत हुए नाराज
जगदगुरू परमहंस आचार्य, पीठाधीश्वर, तपस्वी छावनी मे कहा कि माता लक्ष्मी का अपमान सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने किया है, जो उन्होंने तर्क दिया बहुत ऐसी भी बेटियां हैं जो विकलांग हैं, कुछ ऐसी बेटियां हैं उनके हाथ ही नहीं है किसीको एक हाथ है तो क्या वे बेटी नहीं है? इस तरह वो कहकर के समस्त माताओं, बहनों, बेटियों का अपमान किया है।
सत्येंद्र दास वेदांती, शिष्य डॉक्टर रामविलास दास वेदांती सीताराम मंदिर, ने कहा कि मुझे बहुत आश्चर्य लगता है स्वामी प्रसाद मौर्य पर कभी रामायण पर टीका टिप्पणी करना। लेकिन इस बार तो बड़ा आश्चर्य हुआ, बड़ी दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है स्वामी प्रसाद मौर्य जी की, कि जिस तरह से इन्होेंने जो कल का कृत्य किया दीपावली महोत्सव पर, आज लक्ष्मी जी पर टिप्पणी, जबकि लक्ष्मी जी तो भारतीय संस्कृति का हिस्सा हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति भारत के राष्टपति से शिक्षा ले रहा है और उसे अपना रहा है पूरे चाव से, पूरी शुद्धता के पूर्ण रूपेण किस तरह अपना रहा है। लेकिन आज लक्ष्मी जी पर जो कुठाराघात करने का जो प्रयास किया है स्वामी प्रसाद मौर्य ने ये दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है।
PTI
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