(अवैस उस्मानी) : चाइल्ड पोर्नोग्राफी और रेप वीडियो को सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर अपलोड करने का मामले सुप्रीम कोर्ट ने फेसबुक, ट्विटर समेत सभी सोशल मीडिया प्लेटफार्म कंपनियों को 6 हफ्ते में अनुपालन रिपोर्ट दखिल करने का निर्देश दिया। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से भी मामले में रिपोर्ट दाखिल करने को कहा है। सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से बताने को कहा चाइल्ड पोर्नोग्राफी और रेप वीडियो को अपने प्लेटफॉर्म पर रोकने के लिए क्या कदम उठाया है। Child Pornography,
मामले की सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार और इंटरमीडियरी कंपनियों ने बताया कि उन्होंने 2018 में जारी SC के निर्देशों के मुताबिक ज़रूरी कदम उठाए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने सरकार से इसकी जानकारी देते हुए एक लिखित नोट जमा करवाने को कहा। सुप्रीम कोर्ट ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे कि मेटा और ट्विटर समेत अन्य सोशल मीडिया कंपनियों को अपनी रिपोर्ट में बताने को कहा कि सोशल मीडिया कंपनियों ने अपने प्लेटफॉर्म्स पर रेप वीडियो और चाइल्ड पोर्नोग्राफी जैसे अश्लील वीडियो को अपलोड होने से रोकने के लिए क्या कदम उठाए हैं।
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व्हाट्सएप पर बलात्कार के वीडियो पोस्ट करने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है। पिछली सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने व्हाट्सएप को अपनी निवारण प्रणाली में सुधार करने के लिए कहा है ताकि यौन हिंसा दिखाने वाले वीडियो के प्रसार के खिलाफ शिकायत दर्ज करना आसान हो और उन्हें भी कम किया जा सके।
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