Budget 2024: वित्त मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि अगले तीन साल में पांच लाख करोड़ डॉलर के जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) के साथ भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है। और लगातार हो रहे सुधारों से भारत साल 2023 तक सात लाख करोड़ डॉलर (7 ट्रिलियन डॉलर) का आंकड़ा भी छू लेगा।दस साल पहले भारत 1.9 लाख करोड़ डॉलर के जीडीपी के साथ दुनिया की 10वीं बड़ी अर्थव्यवस्था था।
वित्त मंत्रालय ने अर्थव्यवस्था की जनवरी महीने की समीक्षा रिपोर्ट में कहा है कि कोविड महामारी के असर और आर्थिक असंतुलन और मैक्रो इम्बैलेंस वाली अर्थव्यवस्था की विरासत के बावजूद भारत फाइनेंशियल इयर 2023-24 में 3.7 लाख करोड़ डॉलर की अनुमानित जीडीपी के साथ पांचवीं बड़ी अर्थव्यवस्था है।मंत्रालय ने कहा कि 10 साल की ये यात्रा स्थिरता और बढ़ाने वाली कई सुधारों से गुजरी है। उन्होंने देश की आर्थिक तरक्की में अहम भूमिका निभाई है। इन सुधारों ने आर्थिक मजबूती भी दी है जिससे देश को भविष्य में आने वाले वैश्विक झटकों से निपटने में मदद मिलेगी।
Read also-मनी लॉन्ड्रिंग केस: ईडी ने झारखंड के मुख्यमंत्री के दिल्ली आवास पर छापा मारा, कार की तलाशी ली
इसी के साथ मंत्रालय ने कहा कि अगले तीन सालों में भारत के पांच लाख करोड़ डॉलर के जीडीपी के साथ दुनिया की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की उम्मीद है।समीक्षा रिपोर्ट के मुताबिक सरकार ने साल 2047 तक विकसित देश बनने का बड़ा लक्ष्य रखा है। सुधार जारी रहने पर इस लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।समीक्षा रिपोर्ट में कहा गया है कि घरेलू मांग की ताकत ने पिछले तीन साल में अर्थव्यवस्था को सात प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर दी है।
फाइनेंशियल इयर 2024-25 में जीडीपी वृद्धि सात प्रतिशत के करीब रहने की संभावना है।साल 2030 तक वृद्धि दर के सात प्रतिशत से ज्यादा रहने की काफी संभावना है।मंत्रालय ने समीक्षा में पाया है कि मौजूदा और भविष्य के आर्थिक सुधारों के लिए भू-राजनीतिक संघर्ष बढ़ा जोखिम बन सकते हैं। मुख्य आर्थिक सलाहकार वी अनंत नागेश्वरन के ऑफिस की ओर से तैयार भारतीय अर्थव्यवस्था की समीक्षा रिपोर्ट की भूमिका में उन्होंने कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था कोविड के बाद फिर से मजबूत होने के लिए संघर्ष कर रही है और सप्लाई चेन में रुकावट जैसे कुछ झटके 2024 में भी लौट आए हैं। अगर ये झटके कायम रहते हैं तो दुनियाभर में व्यापार प्रवाह, परिवहन लागत, आर्थिक उत्पादन और महंगाई को प्रभावित करेंगे।